#IncomeTax: सरकार ने किसी निजी या सरकारी कंपनी की ओर से कोरोना से कर्मचारी की इलाज और उसकी मौत के बाद परिवार को मिलने वाले मुआवजे को टैक्स फ्री करने का फैसला लिया है। सरकार का यह फैसला ऐसे वक्त में आया है, जब देश की ज्यादातर कंपनियां कोरोना से संक्रमित अपने कर्मचारियों और उनके परिवार वालों को एक्स-ग्रेशिया पेमेंट के जरिए वित्तीय मदद का ऐलान कर रही हैं। ऐसे में इन कंपनियों को भी इस कदम से फायदा होगा और ज्य़ादा कंपनियां इस तरफ कदम उठाएंगी।
सरकार ने पैन और आधार को लिंक करने की आखिरी तारीख भी 3 महीने के लिए बढ़ा दी है। साथ ही टैक्सपेयर्स को एक और बड़ी राहत देते हुए TDS फाइल करने की आखिरी तारीख 30 जून से बढ़ाकर 15 जुलाई कर दी है।
केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर ने
बताया कि कोविड के इलाज के लिए कंपनी या किसी दूसरे व्यक्ति से ली गई रकम पर भी कोई टैक्स नहीं लगेगा। यह छूट कारोबारी साल 2019-20 और 2021-22 के लिए दी गई है। टैक्स छूट किसी व्यक्ति की ओर से अपने दोस्त, रिश्तेदार या किसी दूसरे की मदद के लिए दी गई एक्स-ग्रेशिया पेमेंट पर ही मिलेगी। इसकी लिमिट 10 लाख रुपए तक की गई है।
टैक्स एक्सपर्ट्स का कहना है कि नया नोटिफिकेशन कर्मचारियों के वेतन पर मिलने वाली छूट से अलग है। हालांकि इस पर अगले एक-दो दिन में ज्यादा जानकारी दी जाएगी।
वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर ने बताया कि महामारी के कारण कई लोगों की नौकरी चली गई। यहां तक कि उन्हें बीमारी के खर्च से भी जूझना पड़ा है। इसलिए उन्हें टैक्स में रियायत देने की योजना है। इसके तहत अगर कोई कंपनी कोरोना से मरने वाले कर्मचारी के परिवार को एक्स-ग्रेशिया पेमेंट करती है, तो उस रकम पर फाइनेंशियल ईयर 2019-20 और 2021-22 के लिए टैक्स नहीं लगेगा।
पैन और आधार को लिंक करने की आखिरी तारीख को 3 महीने आगे खिसका दिया है। अब 30 सितंबर 2021 तक ये लिंक किया जा सकेगा।