Arvind Kejriwal : कोरोना काल में जब छात्रों को 12वीं की परीक्षा में आसानी से पास बिना परीक्षा के पास किया गया है तो ऐसे में दिल्ली सरकार लोगों को गुमराह करने और अपनी वाहवाही के लिए तरह तरह के हथकंडे अपना रही है। ऐसे ही एक हथकंडे में दिल्ली सरकार एक बार फिर पकड़ी गई है। अपने अपरोक्ष विज्ञापन के चक्कर में दिल्ली सरकार के शिक्षा विभाग ने बेहतर रिजल्ट वाले सरकारी स्कूल के छात्रों की मार्कशीट चोरी छुपे आम आदमी पार्टी के कार्यकर्त्ताओं और नेताओं को दे दी हैं और वो उनको अलग अलग तरह के कंटेंट के साथ सोशल मीडिया पर शेयर कर रहे हैं।
ऐसे ही एक मामले में दिल्ली के खिचड़ीपुर इलाके में रहने वाली एक 12वीं की छात्रा पूजा पालीवाल की मार्कशीट आम आदमी की पार्षद गीता रावत ने सोशल मीडिया पर शेयर कर दी। साथ में उन्होंने पूजा की पढ़ाई और बेहतर नंबर का क्रेडिट दिल्ली सरकार के मुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया को दे दिया और लिखा कि पूजा के पिता ने उन्हें फोन कर दिल्ली सरकार की तारीफ की है।
हालांकि दिल्ली सरकार और आम आदमी पार्टी की पार्षद गीता रावत की स्थिति तब खराब हो गई जब पूजा पालीवाल के पिता मोहन पालिवाल ने सोशल मीडिया पर लिखा कि वो किसी गीता रावत को ना तो जानते और ना ही उन्होंने गीता रावत को फोन किया है। मोहन पालीवाल ने तो यहां तक लिखा कि उनकी बेटी की मार्कशीट कैसे कोई सार्वजनिक कर सकता है, वो भी बिना उनकी जानकारी के। जानकारी के मुताबिक दिल्ली सरकार ने अपने मुंह मिया मिट्ठु बनने के चक्कर में जिन बच्चों के अच्छे नंबर आएं हैं। उनकी मार्कशीट अपने लोगों को बांटकर उनसे सोशल मीडिया पर अपनी खुद की तारीफ करवा रहे हैं। जोकि अब उल्टा पड़ गया है।