Help orphans: जिन बच्चों ने कोरोना में अपने माता पिता को खो दिया है, उन बच्चों की मदद अब आप भी कर सकते हैं। बस आपको जिस जिले में मदद करनी है, वहां की बाल कल्याण समिति या फिर राष्ट्रीय बाल सरंक्षण आयोग के चेयरमैन को ई-मेल या फिर उनके सोशल मीडिया अकाउंट पर डारेक्ट मैसेज करना है।
दरअसल देश में बड़ी संख्या में बच्चों ने अपने माता पिता को खो दिया है। इसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्देशों के मुताबिक सभी राज्यों से डेटा इकट्ठा किया गया था। अभी तक करीब 1.50 लाख से ज्य़ादा बच्चों की जानकारी एनसीपीसीआर को मिल चुकी है। बच्चों को सीधे पैसा मिले इसके लिए 2000 रुपये हर महीने की एक योजना खुद एनसीपीसीआर चेयरमैन प्रियंक कानूनगो ने अपने गृह जिले विदिशा में शुरु कराई थी। विदिशा में करीब 350 बच्चे ऐसे हैं, जिन्होंने अपने माता पिता को खो दिया है। इनमें से 50 बच्चों को हर महीने 2000 रुपये राज्य सरकार से मिल रहे हैं, जबकि 104 बच्चों को कैलाश सत्यार्थी फाउंडेशन से पैसा मिल रहा है। एनसीपीसीआर की मदद से 40 बच्चों को वेदांतु मदद कर रहा है और 2 बच्चों को स्थानीय व्यापारी घनश्याम बंसल मदद कर रहे हैं। लेकिन फिर भी 154 बच्चे ऐसे हैं, जिन्हें ये मदद नहीं मिल पा रही है।
लिहाजा इन बच्चों की मदद एनसीपीसीआर चेयरमैन ने आम जनता से अपील की है, उन्होंने कहा है कि, जो व्यक्ति समाज सेवा के लिए इच्छुक हैं, वो 24 हज़ार रुपये सालाना इन बच्चों की मदद का पुण्य अर्जित कर सकते हैं, जो मदद करना चाहते हैं, वो ईमेल या फिर सोशल मीडिया पर डारेक्ट मैसेज कर सकते हैं। उनकी इस अपील के तुरंत बाद ही देश से लेकर विदेश तक कई लोगों ने मदद की पेशकश की है। प्रियंक कानूनगो ने theekhabar.com से उम्मीद जताई की, जल्द ही देश में अन्य बच्चों को भी वो इस तरह की मदद दिला पाएंगे। इसके लिए मैंने पर्सनल मॉनिटरिंग इस मामले में रखी हुई है।